प्यार या दोस्ती?
प्यार या दोस्ती हमेशा हमारे लिए खाश होती है तो कई बार हमे प्यार है या सिर्फ दोस्ती ये समाज नहीं आता
मेरे साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ था life मैं पहली बार मैंने किसी लड़की से सामने से बात की थी फिर हम बातो बातो मैं ही दोस्त बने की दोस्ती इतनी ग़हरी हो गई की अब हम हमारी सारी बातें एक दूसरे से sher करने लगे दोस्ती अब और ज्यादा घहराने ही लगी थी की दोस्तों ने उस दोस्ती का गलत मतलब निकला और उसस्के नाम से चिढ़ाने लगे
हमने तो कभी प्यार किया ही नहीं था तो हमे पता ही नहीं था की प्यार होता क्या है?
तो हम तो ठहरे सीधे लड़के हमने तो जाकर सीधा पूछ ही लिया " हम दोस्त ही है या दोस्ती से आगे हमारे बिच कुछ और भी है?
वो तो मज़ाक समझ कर हस कर चली गई और अब हमे ऐसा लग रहा था की मानो समंदर मैं जैसे खोई हुई कस्ती को किनारा मिल गया हो और फिर मैं सपनो के सारे पल बांध चूका था
हम दोनों अक्षर एक दूसरे से सारी बाते sher किया करते थे ऐसे ही एक दिन हम शाम को यार दोस्तों के साथ बैठ कर प्यार और crush के बारे मैं बाते कर रहे थे हर कोई अपने पहले प्यार और crush के बारे मैं बता रहा था वो भी वह ही बैठी थी मैंने तो बातो बातो मैं बता दिया " हमारा तो एक ही crush है और वही प्यार है " मेरे तुरंत बाद ही उसका number था उसने तो साफ साफ कह दिया की वो प्यार मैं नहीं मानती
हमे लगा की वो हमे चिढ़ाने के लिए बोल रही थी पर वो सच था थोड़े दिन और हम इस गलतफेमी मैं रहे की वो हमे प्यार करती है पर सच का एश्सास होते ही मानो हम टूट ही गए दिल उदास था और दिमाग गुस्से मैं
हम तो सीधा उसके पास पौंहच गये और उससे पूछने लगे " तुम मुझसे प्यार नहीं करती थी तो खिलोने की तरह मुझसे खेला क्यों? " और न बोलने वाली बाते बोल और झगड़ा कर हम आ गये
थोड़े दिन बाद एश्सास हुआ की उस दिन उससे इस तरह बात नहीं करनी चाहिए थी
अब माफ़ी मांगू तो किस मुँह से मांगू क्यों की उस दिन मैंने झगड़ा कर मेरी सबसे अच्छी दोस्त खो दी थी
खुद को समजने लगा की वो बेवफा है और आज भी उसे बेवफा कहता हु.
पर मुझे पता है कही ना कही गलती मेरी ही थी इस अच्छी दोस्ती को प्यार का नाम दे कर दोस्ती बदनाम की थी
मैं दोस्ती के सही मायने समझ ही नहीं पाया और उससे प्यार का नाम दे बैठा और मेरी सबसे अच्छी दोस्त खो बैठा
अगर आज ये पढ़ रही हो या सुन रही हो तो मैं तुमसे माफ़ी मांगना चाहता हूँ " हो सके तो मुझे माफ़ कर देना और हो सके तो फिर से मुझे दोस्त बनने का एक मुका देना "
और मुझे पता है मेरी गलती माफ़ करने लायक नहीं है हो सके तो मुझे एक और मुका देना
मेरे साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ था life मैं पहली बार मैंने किसी लड़की से सामने से बात की थी फिर हम बातो बातो मैं ही दोस्त बने की दोस्ती इतनी ग़हरी हो गई की अब हम हमारी सारी बातें एक दूसरे से sher करने लगे दोस्ती अब और ज्यादा घहराने ही लगी थी की दोस्तों ने उस दोस्ती का गलत मतलब निकला और उसस्के नाम से चिढ़ाने लगे
हमने तो कभी प्यार किया ही नहीं था तो हमे पता ही नहीं था की प्यार होता क्या है?
तो हम तो ठहरे सीधे लड़के हमने तो जाकर सीधा पूछ ही लिया " हम दोस्त ही है या दोस्ती से आगे हमारे बिच कुछ और भी है?
वो तो मज़ाक समझ कर हस कर चली गई और अब हमे ऐसा लग रहा था की मानो समंदर मैं जैसे खोई हुई कस्ती को किनारा मिल गया हो और फिर मैं सपनो के सारे पल बांध चूका था
हम दोनों अक्षर एक दूसरे से सारी बाते sher किया करते थे ऐसे ही एक दिन हम शाम को यार दोस्तों के साथ बैठ कर प्यार और crush के बारे मैं बाते कर रहे थे हर कोई अपने पहले प्यार और crush के बारे मैं बता रहा था वो भी वह ही बैठी थी मैंने तो बातो बातो मैं बता दिया " हमारा तो एक ही crush है और वही प्यार है " मेरे तुरंत बाद ही उसका number था उसने तो साफ साफ कह दिया की वो प्यार मैं नहीं मानती
हमे लगा की वो हमे चिढ़ाने के लिए बोल रही थी पर वो सच था थोड़े दिन और हम इस गलतफेमी मैं रहे की वो हमे प्यार करती है पर सच का एश्सास होते ही मानो हम टूट ही गए दिल उदास था और दिमाग गुस्से मैं
हम तो सीधा उसके पास पौंहच गये और उससे पूछने लगे " तुम मुझसे प्यार नहीं करती थी तो खिलोने की तरह मुझसे खेला क्यों? " और न बोलने वाली बाते बोल और झगड़ा कर हम आ गये
थोड़े दिन बाद एश्सास हुआ की उस दिन उससे इस तरह बात नहीं करनी चाहिए थी
अब माफ़ी मांगू तो किस मुँह से मांगू क्यों की उस दिन मैंने झगड़ा कर मेरी सबसे अच्छी दोस्त खो दी थी
खुद को समजने लगा की वो बेवफा है और आज भी उसे बेवफा कहता हु.
पर मुझे पता है कही ना कही गलती मेरी ही थी इस अच्छी दोस्ती को प्यार का नाम दे कर दोस्ती बदनाम की थी
मैं दोस्ती के सही मायने समझ ही नहीं पाया और उससे प्यार का नाम दे बैठा और मेरी सबसे अच्छी दोस्त खो बैठा
अगर आज ये पढ़ रही हो या सुन रही हो तो मैं तुमसे माफ़ी मांगना चाहता हूँ " हो सके तो मुझे माफ़ कर देना और हो सके तो फिर से मुझे दोस्त बनने का एक मुका देना "
और मुझे पता है मेरी गलती माफ़ करने लायक नहीं है हो सके तो मुझे एक और मुका देना
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